सोशल मीडिया पर दावा किया जा रहा है कि एक कॉन्ग्रेस से जुड़े एक भारतीय मुस्लिम को सऊदी अरब में 99 कोड़े मारने की सजा दी गई। अगर कोड़े मारने के बीच में वह शख्स बेहोश हो जाता तो उसे एक सप्ताह की छुट्टी देकर फिर से 99 कोड़े मारने का क्रम शुरू होता। दावा करने वालों ने यह भी कहा कि वह शख्स दो महीने तक जेल में भी रहा है।
दरअसल, वह शख्स अपनी दादी के साथ हज यात्रा पर गया था और वहाँ काबा के सामने राहुल गाँधी की भारत जोड़ो यात्रा का पोस्टर लहराया था। जिस व्यक्ति के बारे में इस तरह की बात कही जा रही है, उसका नाम रजा कादरी है। वह यूथ कॉन्ग्रेस का नेता है। काबा में भारत जोड़ो यात्रा का पोस्टर लहराने के कारण उसे 8 महीने तक जेल में रखा गया। वह 4 अक्टूबर 2023 को भारत आया है।
He is getting 99 lashes as well. If he faints in-between 99 lashes, He will get 1 week rest & then get entire set of 99 lashes again😭 https://t.co/ogpQxU3DTx pic.twitter.com/0fDhchcqwv
— Squint Neon (@TheSquind) October 12, 2023
सोशल मीडिया पर कोड़े लगाने और जेल को लेकर जो दावा किया जा रहा है, वह पूरी तरह सच नहीं है। घटना 8 महीने पुरानी यानी जनवरी 2023 की है। भारत जोड़ो यात्रा के कारण रजा को सऊदी अरब की जेल में रखा गया था, लेकिन दो महीने नहीं बल्कि 8 महीने। वहीं, रजा कादरी ने कोड़े लगाने की बात का कहीं जिक्र नहीं किया है।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, मामला जनवरी 2023 का है जब रजा कादरी अपनी दादी के साथ सऊदी अरब गए हुए थे। रजा कादरी मध्य प्रदेश के निवाड़ी जिले के यूथ कॉन्ग्रेस के अध्यक्ष हैं। उन्होंने 25 जनवरी को मक्का की मस्जिद अल हरम में काबा के सामने भारत जोड़ो यात्रा का पोस्टर लहराया था। फोटो खिंचवाई और उसे सोशल मीडिया पर डाल दिया।
उनको बताया गया उन्होंने मस्जिद के भीतर कॉन्ग्रेस का पोस्टर लहरा कर सऊदी अरब का कानून तोड़ा है। हालाँकि, रजा कादरी ने सऊदी पुलिस से कहा कि उन्हें इसकी जानकारी नहीं थी। सऊदी पुलिस ने कुछ वीडियो के आधार पर रजा से कहा कि वह एक राजनीतिक एजेंट हैं। इसके पश्चात उनको ढाहबान के सेंट्रल जेल में रखा गया।
दैनिक भास्कर को रजा ने बताया कि उन्हें जेल में खाने के लिए सुबह शाम ब्रेड के मात्र दो-दो टुकड़े मिलते थे। उन्हें जेल में एक अँधेरे कमरे में 2 महीने तक बंद रखा गया और उसके बाद सऊदी पुलिस उनसे पूछताछ करने लगी। सऊदी पुलिस उनको रात भर जगाकर उनसे लाइ डिटेक्टर टेस्ट से पूछताछ करती थी।
रजा कादरी ने बताया कि उन्हें ढाहबान के जेल में छह महीने तक रखने के बाद एक अन्य शुमैसी डिटेंशन सेंटर में भेज दिया गया। उन्होंने कहा कि इस डिटेंशन सेंटर में भेजे जाने से पहले उनकी मानसिक हालत भी बिगड़ गई थी। रजा ने बताया कि इस जगह पर नरक से भी बदतर माहौल था। यहाँ भारतीयों को सबसे गंदी और बुरी हालत में रखा जाता है।