केरल: इन 3 जिलों में हालात गंभीर, 67 हेलिकॉप्टर, 24 एयरक्राफ्ट ‘ऑपरेशन मदद’ में

नई दिल्ली। बारिश और बाढ़ से जूझ रहे केरल के विभिन्न इलाकों से लोगों को सुरक्षित निकालने का काम जारी है. सेना और एनडीआरएफ के अलावा कई एजेंसियों की टीमें राहत और बचाव कार्य में जुटी हैं. ऑपरेशन मदद के तहत दुर्गम इलाकों में फंसे लोगों को हेलिकॉप्टर के जरिये निकाला जा रहा है. केरल के तीन जिले बाढ़ से सबसे ज्यादा प्रभावित बताए जा रहे हैं. ये जिले हैं: त्रिचुर, पथनमथिट्टा और एर्णाकुलम. ऑपरेशन में कई तरह के एयरक्राफ्ट एएलएच, सी किंग, चेतक और एमआई 17 लगाए गए हैं.

राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन समिति के मुताबिक, 67 हेलिकॉप्टर, 24 एयरक्राफ्ट, 548 मोटरबोट्स और नेवी, सेना, वायुसेना, एनडीआरएफ, कोस्ट गार्ड अन्य एजेंसियों के हजारों लोग पानी वाले इलाकों से लोगों को निकालकर उन्हें राहत शिविरों में ला रहे हैं. साथ ही राहत सामग्री वितरित कर रहे हैं.”

समिति ने बताया, “अब तक विभिन्न केंद्रीय मंत्रालयों ने भोजन, पीने योग्य पानी और दवाएं उपलब्ध कराई हैं जिसमें 3,00,000 भोजन के पैकेट, 600,000 टन दूध, 1,40,000 लीटर पीने योग्य पानी शामिल है. इसके अलावा, समिति ने यह भी बताया “राज्य सरकार के अनुरोध पर 6900 लाइफ जैकेट, 3000 लाइफ ब्वॉय, 167 टॉवर लाइट, 2100 रेन कोट उपलब्ध कराए कराए गए हैं. केंद्रीय सचिव ने 5 और हेलिकॉप्टर लगाने के आदेश दिए हैं.”

 

 

केरल की बाढ़ को लेकर टीवी शो में रूंधे गले से पीएम मोदी से मदद मांगने वाले चेंगन्नूर विधायक साजी चेरियन ने कहा, “दूर-दराज के क्षेत्रों में फंसे लोग डरे हुए थे और उन्हें नाव के जरिये उन्हें बचाना संभव नहीं हो पा रहा था. इसलिए मैं रो पड़ा था. आज नेवी ने 200 लोगों को बचाया है.”

 

 

एनडीआरएफ के एक प्रवक्ता ने कहा कि उसकी कुल 58 टीम राहत एवं बचाव काम के लिए केरल में तैनात की गई हैं. उनमें से 55 टीम वहां काम कर रही हैं जबकि तीन टीम रास्ते में है.
प्रवक्ता ने कहा, ‘‘बाढ़ से जूझ रहे केरल राज्य में बल ने अपना राहत एवं बचाव अभियान तेज कर दिया है.’’  उन्होंने कहा, “इसके (2006 में) गठन के बाद से किसी एक राज्य में अब तक का सबसे बड़ी तैनाती है और इस तरह यह अब तक का हमारा सर्वाधिक बड़ा आपदा मोचन अभियान है,” एनडीआरएफ की हर टीम में 35-40 कर्मी हैं. प्रवक्ता ने बताया कि इन टीमों ने अब तक 194 लोगों और 12 जानवरों को बचाया है और 10,467 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया है.

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