नई दिल्ली/जयपुर। राजस्थान में जारी सियासी उठापटक के बीच सबकी नजरें सचिन पायलट पर टिकी हुई है।पायलट ने अभी आगे के पत्ते नहीं खोले हैं। आज वह अपनी आगे की सियासी राह को लेकर चुप्पी तोड़ सकते हैं। गौरतलब है कि कांग्रेस ने मंगलवार को बड़ी कार्रवाई करते हुए उन्हों उप-मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष पद से हटा दिया, लेकिन पार्टी से बाहर नहीं किया गया। यानी पार्टी छोड़ने होने की औपचारिकता खुद पायलट को करनी है। भाजपा के वरिष्ठ नेताओं ने उनको पार्टी में शामिल होने के लिए आमंत्रण दिया है, लेकिन करीबियों का कहना है कि पायलट अपना अलग मोर्चा बनाने की तैयारी में हैं। भाजपा नेताओं ने उनका स्वागत करने की बात तो कही है, लेकिन भाजपा भी इस मामले में हर कदम फूंक फूंक कर रखेगी। राजस्थान में पार्टी के पास पहले ही बहुत से कद्दावर नेता हैं। ऐसे में कोई भी फैसला जल्दबाजी में नहीं लिया जा सकता है।
30 विधायकों के साथ का दावा
सचिन पायलट ने पिछले दो दिनों में अपने साथ कुल 30 विधायक होने का दावा किया है। हालांकि, उनके समर्थकों द्वारा जारी एक वीडियो में 16 विधायक नजर आए हैं। अगर 30 विधायक भी सरकार से अलग होते हैं तो भी गहलोत सरकार पर कोई तात्कालिक खतरा नहीं है, क्योंकि 200 सदस्यों वाली विधानसभा में कांग्रेस के अकेले 107 सदस्य हैं और उसका दावा निर्दलीयों समेत 18 अन्य विधायकों के समर्थन का है। भाजपा के 72 विधायक हैं और उसके साथ तीन विधायकों का एक अन्य समूह है।