चंडीगढ़। पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह अपने पद और कांग्रेस पार्टी दोनों से इस्तीफा दे सकते हैं। सूत्रों का कहना है कि अमरिंदर सिंह ने नवजोत सिद्धू द्वारा बुलाई गई विधायकों की बैठक से ठीक पहले सोनिया गांधी से कहा है कि वह “इस तरह के अपमान के साथ पार्टी में नहीं रह सकते हैं”।
आज चंडीगढ़ में विधायकों की बैठक ने विधानसभा चुनाव से कुछ महीने पहले पंजाब कांग्रेस सरकार में नेतृत्व परिवर्तन की अटकलों को तेज कर दिया है। एनडीटीवी की एक रिपोर्ट के मुताबिक, सूत्रों का कहना है कि अमरिंदर सिंह ने पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी से कहा है, “इस तरह का अपमान काफी है, यह तीसरी बार हो रहा है। मैं इस तरह के अपमान के साथ पार्टी में नहीं रह सकता।”
पिछले कुछ महीनों में अमरिंदर सिंह के खिलाफ विधायकों के एक वर्ग, जिन्हें नवजोत सिंह सिद्धू का समर्थक माना जाता है, ने बगावत की और एक नए नेता की मांग की है। पंजाब के संभावित नए मुख्यमंत्री के लिए सुनील जाखड़, पंजाब कांग्रेस के पूर्व प्रमुख प्रताप सिंह बाजवा और बेअंत सिंह के पोते और सांसद रवनीत सिंह बिट्टू जैसे नाम सामने आ रहे हैं।
पंजाब में कांग्रेस विधायक दल की बड़ी बैठक
कांग्रेस की पंजाब इकाई में जारी तनातनी के बीच अखिल भारतीय कांग्रेस समिति (एआईसीसी) ने शनिवार को राज्य के कांग्रेस विधायक दल की बैठक बुलाई है। एआईसीसी के महासचिव एवं पंजाब मामलों के प्रभारी हरीश रावत ने शुक्रवार रात को इस बारे में घोषणा की। रावत ने ट्वीट किया, ”कांग्रेस के अनेक विधायकों ने एआईसीसी से पंजाब कांग्रेस विधायक दल की बैठक तत्काल बुलाने का अनुरोध किया। इसी क्रम में पंजाब प्रदेश कांग्रेस समिति के कार्यालय में 18 सितंबर को शाम पांच बजे विधायक दल की बैठक बुलाई गई है। पंजाब कांग्रेस के सभी विधायकों से बैठक में शामिल होने का अनुरोध किया जाता है”
इस ट्वीट में उन्होंने कांग्रेस नेता राहुल गांधी, मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह और पंजाब कांग्रेस प्रमुख नवजोत सिंह सिद्धू को भी टैग किया।
पिछले महीने, राज्य के चार मंत्रियों और अनेक विधायकों ने मुख्यमंत्री के खिलाफ असंतोष के स्वर उठाए थे और कहा था कि उन्हें अब इस बात का भरोसा नहीं है कि अमरिंदर सिंह में अधूरे वादों को पूरा करने की क्षमता है।