मुंबई। महाराष्ट्र में अब मराठा समुदाय को आरक्षण देने का रास्ता साफ हो गया है. मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने रविवार को कहा कि पिछड़ा आयोग ने सरकार को तीन सिफारिशों के साथ रिपोर्ट सौंपी है. मराठा समुदाय को आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग (एसईबीसी) में स्वतंत्र रूप से आरक्षण दिया जाएगा. फडणवीस ने कहा कि हमने आयोग की सभी सिफारिशों को मान लिया है और एक कमेटी का गठन कर इसे लागू करने के लिए जरुरी कदम उठाने के लिए आदेशित कर दिया गया है.
गौरतलब है कि बीते गुरुवार (15 नवंबर) को फडणवीस ने संकेत दिए थे कि सरकार जल्द ही मराठा आरक्षण को लागू कर सकती है. सीएम फडणवीस ने अहमदनगर की एक रैली में कहा था, ‘पिछड़ा आयोग से हमें मराठा आरक्षण पर रिपोर्ट प्राप्त हुई है. मैं आप सभी से कहता हूं कि आप 1 दिसंबर को जश्न के लिए तैयार रहें.’ बता दें कि महाराष्ट्र राज्य के पिछड़ा वर्ग आयोग ने मराठा समुदाय की सामाजिक और आर्थिक स्थिति पर अपनी रिपोर्ट गुरुवार को राज्य के मुख्य सचिव डीके जैन को सौंप दी थी.
आरक्षण के पक्ष में दिए गए सुझाव
रिपोर्ट में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) को दिए गए आरक्षण से छेड़छाड़ किए बिना, मराठा समुदाय की शिक्षा और सरकारी नौकरियों में आरक्षण की मांग के पक्ष में सुझाव दिए गए हैं. जैन ने रिपोर्ट मिलने के बाद मंत्रालय में पत्रकारों से कहा, ‘हमें रिपोर्ट मिल गई है, जो कि मराठा समुदाय की सामाजिक और आर्थिक स्थिति पर आधारित है. अध्ययन (रिपोर्ट के) के बाद उचित निर्णय लिया जाएगा.’
आयोग ने उसे मिले दो लाख ज्ञापनों, लगभग 45,000 परिवारों के सर्वेक्षण के साथ ही मराठा समुदाय के सामाजिक, आर्थिक और शैक्षणिक पिछड़ेपन के प्रायोगिक आंकड़ों का अध्ययन किया. इस पैनल का नेतृत्व न्यायमूर्ति एनजी गायकवाड़ (सेवानिवृत्त) ने किया था.