I.N.D.I गठबंधन को बिहार के सीएम नीतीश कुमार के बाद पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने जोरदार झटका दिया है। सीएम ममता बनर्जी ने राहुल गाँधी की ‘भारत जोड़ो न्याय यात्रा’ को सिलीगुड़ी में प्रवेश नहीं देने का ऐलान किया है। इसके साथ ही साफ किया है कि तृणमूल कॉन्ग्रेस (TMC) इस यात्रा में शामिल नहीं होगी।
इसके पीछे ममता बनर्जी ने तर्क दिया है कि भारत जोड़ो यात्रा के बारे में बंगाल की सरकार को सूचित तक नहीं किया गया। खैर, ममता बनर्जी की कॉन्ग्रेस से किस बात को लेकर नाराजगी है, ये तो जगजाहिर है। दरअसल, लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर पश्चिम बंगाल में दोनों पार्टियों के बीच सीट बँटवारे पर एकराय नहीं बन पाई है।
बता दें कि ‘भारत जोड़ो न्याय यात्रा’ के 12वें दिन असम से उत्तरी पश्चिम बंगाल के कूच बिहार क्षेत्र में बसीरहाट पहुँचने पर इस यात्रा को रोक दिया गया। इसके बाद फिर राहुल गाँधी दिल्ली के लिए रवाना हो गए। दरअसल, राहुल गाँधी 25 जनवरी 2024 की सुबह यात्रा का नेतृत्व करते हुए बसीरहाट पहुँचे थे।
अब यह यात्रा 26 और 27 जनवरी 2024 को आगे नहीं बढ़ेगी। इसके बाद 28 जनवरी 2024 को यह यात्रा बंगाल के सिलीगुड़ी से होकर गुजरने वाली थी, लेकिन ममता बनर्जी की सरकार ने इसकी इजाजत देने से मना कर दिया। बता दें कि राहुल गाँधी की यह यात्रा मणिपुर से शुरू हुई है और यह मुंबई तक चलेगी। इस दौरान 6700 किलोमीटर से अधिक का सफर तय किया जाएगा।
राहुल गाँधी की न्याय यात्रा रोकने को लेकर बंगाल प्रशासन ने कहा कि यह फैसला इसलिए लिया गया है, क्योंकि उसी तारीख को विद्यार्थियों की परीक्षा होनी है। दरअसल, 25 जनवरी को राहुल गाँधी के ‘भारत जोड़ो न्याय यात्रा’ के लिए पूरे दिन के कार्यक्रम का ऐलान किया था। हालाँकि, राहुल गाँधी ने बसीरहाट में एक छोटी बैठक और जिला मुख्यालय पर एक रोड शो करने के बाद दिल्ली के लिए रवाना हो गए। .
इन कार्यक्रमों में राहुल गाँधी ने TMC सुप्रीमो ममता बनर्जी द्वारा आगामी लोकसभा चुनाव अकेले लड़ने के ऐलान के बारे में बातें कीं। बंगाल में राहुल गाँधी की यात्रा बीरभूम, उत्तर दिनाजपुर, जलपाईगुड़ी, दार्जिलिंग, उत्तर दिनाजपुर, मालदा और अलीपुरद्वार जिले में प्रस्तावित है। 29 जनवरी 2024 को पड़ोसी राज्य बिहार में प्रवेश करने से पहले इस यात्रा में थोड़ा बदलाव किया गया है।
‘मुझे बताने की जहमत नहीं उठाई’
बता दें कि सीएम बनर्जी ने लोकसभा चुनाव में विपक्षी I.N.D.I गठबंधन से अलग अकेले उतरने का फैसला किया। अगले कुछ महीनों में होने जा रहे आम चुनाव के लिए सीट बँटवारे पर सहमति नहीं बन पाने के बाद दोनों दलों के रिश्तों में खटास दिखने लगी है। ममता बनर्जी ने यहाँ तक कह दिया कि उनकी पार्टी INDI गठबंधन में रहने का पुनर्मूल्यांकन कर रही है।
TMC पहले ही कह चुकी है कि वह बंगाल में कॉन्ग्रेस की यात्रा का हिस्सा नहीं बनेगी। TMC सुप्रीमो ने आरोप लगाया, “उन्होंने मुझे शिष्टाचार के नाते भी यह बताने की जहमत नहीं उठाई कि वे पश्चिम बंगाल आ रहे हैं, भले ही मैं I.N.D.I गठबंधन हिस्सा हूँ। इसलिए जहाँ तक बंगाल का सवाल है, मेरे साथ उनका कोई संबंध नहीं है।”
ये भी माना जा रहा है कि कॉन्ग्रेस के राज्य अध्यक्ष अधीर रंजन चौधरी की लगातार पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री की आलोचना के परिणामस्वरूप TMC ने कॉन्ग्रेस से किनारा कर लिया है। वहीं, दिलचस्प बात यह है कि राज्य में विपक्षी गठबंधन में शामिल भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) सहित वामपंथी दल इस यात्रा में शामिल होने जा रहे हैं।
इस न्याय यात्रा के बीच I.N.D.I गठबंधन में बिखराव का सफर शुरू हो चुका है। इसके तुरंत बाद पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने ऐलान किया कि आम आदमी पार्टी पंजाब में अकेले चुनाव लड़ेगी। वहीं, I.N.D.I गठबंधन को खड़ा करने वाले नीतीश कुमार अब भाजपा के नेतृत्व वाली एनडीए गठबंधन की ओर झुकते दिखाई दे रहे हैं।