नोटों की गड्डियों पर सोता था यह इंजीनियर, कैश देख अधिकारियों के उड़े होश

नई दिल्ली/पटना। बिहार सरकार का एक अभियंता नोटों की सेज पर सोता था. निगरानी विभाग की छापेमारी में यह खुलासा हुआ है कि अभिंयता जिस पलंग पर सोता था उसके अंदर नोटों की गड्डियां मिली हैं. कैश देखकर अधिकारियों के होश उड़ गए. पलंग के नीचे गड्डियों से भरे कई बैग मिले हैं. निगरानी विभाग को इतने कैश मिले कि उसे रखने की जगह नहीं है. शनिवार और रविवार को बैंक बंद होने की वजह से आरबीआई से विशेष आदेश के तहत कैश जमा कराने की कोशिश की जा रही है.

निगरानी विभाग ने पथ निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता सुरेश प्रसाद और कैशियर शशिभूषण कुमार को 14 लाख रुपये रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया. ये रिश्वत पटना के पास बिहटा से बिक्रम के बीच बन रहे सड़क के ऐग्रीमेंट के लिए मांगी गई थी. पूरी डील 28 लाख रुपये में तय हुई थी. 50 प्रतिशत एडवांड डील के तहत 14 लाख रुपये देने के लिए अभियंता ने कॉन्ट्रैक्टर को अपने पटेल नगर स्थित आवास पर बुलाया था. पूर्व सूचना के मुताबिक, निगरानी की टीम वहां पहले से ही मौजूद थी जिसने दोनों को रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया.

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निगरानी के डीएसपी गोपाल पासवान ने बताया कि साज इंफ्राकॉम प्रोजेक्ट लिमिटेड के कॉन्ट्रैक्टर अखिलेश कुमार जयसवाल का सड़क बनाने का काम बिहटा से बिक्रम तक चल रहा है, जिसके एग्रीमेंट के लिए कार्यपालक अभियंता सुरेश प्रसाद सिंह और शशिभूषण कुमार कैशियर ने पथ निर्माण विभाग द्वारा 28 लाख रुपये की मांग की थी, जिसमें 14 लाख रुपये देने के लिए तय हुआ. आज 14 लाख रुपये लेते हुए अभियंता और उनके कैशियर को निगरानी टीम पटना के द्वारा रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया. वहीं, उनके घर पर अभी जांच चल रही है. अब तक लगभग 2 करोड़ से ज्यादा रुपये बरामद हुए हैं और आगे की गिनती चल रही है.

अभियंता की गिरफ्तारी के बाद निगरानी ने उसके घर पर छापेमारी की है. छापेमारी में अभियंता के घर से करोड़ों रुपये कैश बरामद होने से उसकी गिनती के लिए मशीन मंगानी पड़ी. अभियंता के पलंग के नीचे करोड़ों रुपये मिले. घर में इधर-उधर कैश छिपाकर रखे गए थे. अब तक इंजीनियर के घर छापेमारी जारी है और जानकारी के अनुसार करीब 2 करोड़ 40 लाख रुपये मिल चुके हैं. छापेमारी में कई जमीन के कागजात के अलावा अन्य सामान मिले. सबका मिलान किया जा रहा है.

गौरतलब है कि बिहार में किसी सरकारी अधिकारी के घर में इतने कैश एक साथ निगरानी को नहीं मिले थे. यही वजह है कि उसे बैंक में रखने की कोशिश की जा रही है, क्योंकि निगरानी विभाग के लॉकर में 40-50 लाख तक कैश रखे जा सकते हैं.

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