63वें जन्मदिन पर बोलीं मायावती, ‘मुस्लिमों को मिले आरक्षण, जुमे की नमाज पर पाबंदी क्यों’?

लखनऊ। लोकसभा चुनाव 2019 से पहले बसपा सुप्रीमो मायावती 63वां जन्मदिन मना रही हैं. मंगलवार को अपने जन्मदिवस के मौके पर उन्होंने अपने निजी आवास में एक प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित किया. सपा और बसपा के कार्यकर्ताओं से पुराने मतभेदों को भूलकर गठबंधन को मजबूत बनाकर 2019 में होने वाले चुनाव में बड़ी जीत दर्ज कर बर्थडे गिफ्ट देने की बात कही. वहीं, चुनाव में गरीबों और पिछड़ों के साथ मुसलमानों को भी साधने की कोशिश की.

बसपा सुप्रीमो मायावती ने मुस्लिमों की रोजगार का मुद्दा उठाते हुए 10 फीसदी आरक्षण की मांग करते हुए, जुमे की नमाज पर लगी पाबंदी पर सवाल खड़े किए. मायावती ने कहा आजादी के बाद से सरकारी नौकरियों में मुस्लिमों की भागीदारी का औसत करीब 33 प्रतिशत था, जो कि अब घटकर 2 से 3 प्रतिशत ही रह गई है.

हाल ही में मोदी सरकार द्वारा सवर्णों को 10 फीसदी आरक्षण पर उन्होंने कहा कि वो सवर्णों के आरक्षण का वह समर्थन करती है, लेकिन इसके साथ वो मांग करते हैं कि सरकार मुसलमानों को भी 10 फीसदी आरक्षण दे.

बसपा सुप्रीमो ने कहा कि उत्तर प्रदेश में सपा और बसपा का गठबंधन होने के बाद से बीजेपी की नींद गायब है. पीएम नरेंद्र मोदी के साथ अमित शाह एंड कंपनी परेशान है. उन्होंने कहा कि अब इनकी परेशानी को और बढ़ाना है. सपा-बसपा दोनों को मिलकर बीजेपी को साफ कर देंगे. उन्होंने कहा मैं गरीबों, पिछड़ों और अल्पसंख्यकों से अनुरोध करती हूं कि वह लोकसभा चुनाव में बसपा और गठबंधन का समर्थन करें.

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